क्या जेएनयू से उठी आवाज आजादी..आजादी.....-अंजनी

क्या जेएनयू से उठी आवाज आजादी..आजादी.....
लगाने वाले कामरेडों
आज उसी आजादी की आवाज को जेएनयू के कैम्पस में दफन कर दोगे
अगर ये आवाज तुम कामरेडों वहीं दफना देना चाहते हो तो ये तुम्हारी भूल है
उसी कैम्पस के नये वारिश तुम्हारे इस मंसुबों को चीरते-फारते हुए कैम्पसों से निकलकर खेत-खलिहानों से होते हुए नुक्कड़-चौराहे तक सर्वहारा की आवाज को मजबूती के साथ बूलंद करेगा
आजादी.....
आजादी.....
आजादी....
आजादी.....

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